लेखनी प्रतियोगिता -29-Dec-2022
जात पात धर्म मर्यादे के झाल में कइयों ने जिदंगी बर्बाद किया है
पूर्वजों के सम्मान के खातिर खुद को ही कुर्बान किया है
हिम्मत जुटानी थी जब ,खामोश बन परिवार की खुशियों का मान किया है
मां बाप की भावनाओ को ठेस न पहुंचे
कई बेटियों ने शादी के लिए स्वीकार किया
खुद की आशिकी की दास्तान को जो साथ रहने के बात हुआ करती थी अब उस आशिक को इनकार किया है
आशिकी में कईयों ने खुद को बर्बाद किया है
ये जात पात के चक्कर में कईयों ने दिल को राख किया है
कुल मर्यादा में पड़कर एक लडकी ने खुद को वार दिया
जिससे मोहब्बत थी उसने फांसी में खुद को टांग दिया
कईयों ने जीने की तम्माना मौत के हाथ सौप दिया
खत्म सिलसिला प्यार का दो जिंदगी के साथ खिलवाड़ हुआ।।
ये जात पात ,दुनिया की रीति रिवाजों में
खुद के बच्चो की भावना का तो मान करे
उनके खुशी के खातिर प्रेम का सम्मान करे।।
पृथ्वी सिंह बेनीवाल
30-Dec-2022 10:14 AM
बहुत खूब
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Varsha_Upadhyay
29-Dec-2022 11:26 AM
बहुत खूब
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Mahendra Bhatt
29-Dec-2022 09:06 AM
शानदार
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